घन्तर-3
भिकूदा प्रेस वार्ता-२
भीकू दा आपके यहाँ अभी तक रेलवे लाइन नहीं आइ इस संदर्भ में कुछ कहना चाहेंगे?
क्या कहूँ भुला मेरे बूबु कहते थे नाती तुम्हारे जवाँ होते ही तुम्हें रेल मिल जाएगी। जब तुम शहर में नौकरी पाणि के लिए जाओगे तो घर अपने गाँव आने जाने के लिए रेल का साधन होगा। लेकिन रेल तो छोड़ भुला यहाँ ठीक से ठुल मूनेयी टरक़ भी सही से चल नहीं पाता।
जब वह उकाव में जाता है तो उसकी साँस भी फूलने लगती है वह भी अपने ड्राईवर से कहता है बिसौण लगदे रे लगदे अब उकाव नी चढ़ियन। तब यस में भुला हमारे यहाँ कैसे रेल आयेंगी।
बल भिकूदा हिमाचल और जम्मू के पहाड़ों में तो रेल पहुँच गयी।
तो भुला वहाँ रोड ठीक होगी, इतने उकाव नहीं होंगे, हमारे यहाँ तो रोड में ग़ड्डे ही इतने हैं कि आपको बाबा रामदेव की कसरत या योगा करने की ज़रूरत ही नहीं, गाड़ी में चलते भक़त झकोवा झकोव झकोवा झकोव करके हांट भांट भी पींचर हो जाते हैं एसे में रेल कैसे चलेगी। सुना है रेल तो सीधे सीधे चलती है और उउइउउं लम्बी होती है।
अरे नहीं भीकू दा रेल के लिए तो अलग से ट्रेक बनाया जाता है वह गाड़ी वाले रोड पर नहीं चलती उसके लिए लोहे से अलग से ट्रेक बनाया जाता है
अच्छा अच्छा तभी मैं कहूँ अब तक रेल क्यूँ नहीं आयी। मैं तो सोच रहा था एक दिन इसी रोड पर चलते चलते आएगी। तभी तभी, ओहो! ये तो में आजतक नहीं समझ पाया। अच्छा हुवा कि आपने मुझे बता दिया। नहीं तो में एसे ही, इसी रोड पर उसका इंतज़ार ही करता।
बल भिकूदा लोग तो कह रहे हैं अब आपके यहाँ भी रेल जुड़ने वाली है फिर तो आप रोज रेल से ही अप डाउन करेंगे
भुला हमर याँ एक क़िस्सा है - बिना मरिए स्वर्ग नी देखियन कूनि। तैसे ही हाल हमारे भी हैं कब तुम्हारे हिसाब से रेल ट्रेक बिछेगा कब उसका इंजन आएगा और उसके पीछे पीछे उसके बच्चे याने कि उसके डब्बे। जो सपने हमारे बुबु ने रेल के लिए देखते थे अब वही सपना हम अपने भावी पीढ़ी के लिए देखेंगे।
बल भिकूदा रेल मंत्री तो कह रहें है हम बहुत तेज़ी से विकास करेंगे। विकास करने के लिए तीन साल ही बहुत होते हैं
क्या भुला तू भी पाणि खाव में त्यूड मारने जैसी बात करता है जो इतने साल से नहीं हुवा वह अब तीन साल में कैसे पूरा हो जाएगा? फिर भी तेरे मुँह में तील गुड़। जो तू कह रहा है प्रभु जी कर दें तो हमारे भी भाग खुल जायेंगे।जीते जी रेल देखकर ही जाऊँगा
भिकूदा के साथ प्रेस वार्ता जारी है बने रहिए
पभजोपागल
भास्कर जोशी पागल
9013843459
भिकूदा प्रेस वार्ता-२
भीकू दा आपके यहाँ अभी तक रेलवे लाइन नहीं आइ इस संदर्भ में कुछ कहना चाहेंगे?
क्या कहूँ भुला मेरे बूबु कहते थे नाती तुम्हारे जवाँ होते ही तुम्हें रेल मिल जाएगी। जब तुम शहर में नौकरी पाणि के लिए जाओगे तो घर अपने गाँव आने जाने के लिए रेल का साधन होगा। लेकिन रेल तो छोड़ भुला यहाँ ठीक से ठुल मूनेयी टरक़ भी सही से चल नहीं पाता।
जब वह उकाव में जाता है तो उसकी साँस भी फूलने लगती है वह भी अपने ड्राईवर से कहता है बिसौण लगदे रे लगदे अब उकाव नी चढ़ियन। तब यस में भुला हमारे यहाँ कैसे रेल आयेंगी।
बल भिकूदा हिमाचल और जम्मू के पहाड़ों में तो रेल पहुँच गयी।
तो भुला वहाँ रोड ठीक होगी, इतने उकाव नहीं होंगे, हमारे यहाँ तो रोड में ग़ड्डे ही इतने हैं कि आपको बाबा रामदेव की कसरत या योगा करने की ज़रूरत ही नहीं, गाड़ी में चलते भक़त झकोवा झकोव झकोवा झकोव करके हांट भांट भी पींचर हो जाते हैं एसे में रेल कैसे चलेगी। सुना है रेल तो सीधे सीधे चलती है और उउइउउं लम्बी होती है।
अरे नहीं भीकू दा रेल के लिए तो अलग से ट्रेक बनाया जाता है वह गाड़ी वाले रोड पर नहीं चलती उसके लिए लोहे से अलग से ट्रेक बनाया जाता है
अच्छा अच्छा तभी मैं कहूँ अब तक रेल क्यूँ नहीं आयी। मैं तो सोच रहा था एक दिन इसी रोड पर चलते चलते आएगी। तभी तभी, ओहो! ये तो में आजतक नहीं समझ पाया। अच्छा हुवा कि आपने मुझे बता दिया। नहीं तो में एसे ही, इसी रोड पर उसका इंतज़ार ही करता।
बल भिकूदा लोग तो कह रहे हैं अब आपके यहाँ भी रेल जुड़ने वाली है फिर तो आप रोज रेल से ही अप डाउन करेंगे
भुला हमर याँ एक क़िस्सा है - बिना मरिए स्वर्ग नी देखियन कूनि। तैसे ही हाल हमारे भी हैं कब तुम्हारे हिसाब से रेल ट्रेक बिछेगा कब उसका इंजन आएगा और उसके पीछे पीछे उसके बच्चे याने कि उसके डब्बे। जो सपने हमारे बुबु ने रेल के लिए देखते थे अब वही सपना हम अपने भावी पीढ़ी के लिए देखेंगे।
बल भिकूदा रेल मंत्री तो कह रहें है हम बहुत तेज़ी से विकास करेंगे। विकास करने के लिए तीन साल ही बहुत होते हैं
क्या भुला तू भी पाणि खाव में त्यूड मारने जैसी बात करता है जो इतने साल से नहीं हुवा वह अब तीन साल में कैसे पूरा हो जाएगा? फिर भी तेरे मुँह में तील गुड़। जो तू कह रहा है प्रभु जी कर दें तो हमारे भी भाग खुल जायेंगे।जीते जी रेल देखकर ही जाऊँगा
भिकूदा के साथ प्रेस वार्ता जारी है बने रहिए
पभजोपागल
भास्कर जोशी पागल
9013843459
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